दशहरा पर निबंध (Essay on Dussehra in Hindi): दुर्गा पूजा और विजयदशमी पर 100, 200 एवं 500 शब्दों में निबंध

Munna Kumar

Updated On: October 09, 2025 01:37 PM

दशहरा निबंध (Dussehra Essay in Hindi): दशहरा हिन्दू धर्म के लोगों का प्रमुख त्योहारों में से एक है, जो हर साल सितंबर-अक्टूबर यानी आश्विन माह में मनाया जाता है। यहां बच्चों के लिए दुर्गा पूजा पर निबंध (Durga Puja Par Nibandh) लिख कर बताया गया है, जिससे छात्रों को अपने स्कूल प्रोजेक्ट में मदद मिलेगी।

logo
दशहरा पर हिंदी में निबंध (Essay on Dussehra in Hindi)

दशहरा पर हिंदी में निबंध (Essay on Dussehra in Hindi): दशहरा हिन्दू धर्म के लोगों का प्रमुख त्योहारों में से एक है, जो हर साल सितंबर-अक्टूबर या हिन्दू पंचांग के अनुसार आश्विन माह में मनाया जाता है। इस साल यानी 2025 में यह पर्व 2 अक्टूबर 2025 को मनाया जा रहा है। यह पर्व बुराई पर अच्छाई की जीत को दर्शाता है। इस त्योहार को लेकर देश के अलग-अलग भागों में अलग-अलग कहानियां है, हालांकि सभी कहानियों का सार अच्छाई पर बुराई की जीत का ही है। जैसे उत्तर भारत जैसे उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, दिल्ली, हरियाणा, राजस्थान में दशहरा भगवान राम का रावण पर जीत और अयोध्या वापसी की कहानी बताती है। वहीं बिहार, बंगाल, ओडिशा, झारखंड समेत दक्षिण भारत में दशहरा पर मां दुर्गा के नौ रूपों की नौ दिनों तक पूजा की जाती है और दसवें दिन दशहरा मनाया जाता है। इस दिन मां दुर्गा का असुरों पर विजय प्राप्ति के रूप में मनाया जाता है। आप यहां दुर्गा पूजा पर निबंध (Essay on Durga Puja in Hindi) लिखना सीख सकते है।

दशहरा पर एक चीज जो कॉमन है वो है बुराई पर अच्छाई की जीत। इस दिन देश के कई भागों में बुराई का प्रतिक रावण का पुतला भी जलाया जाता है साथ ही गांवों और शहरों में मेले का आयोजन भी किया जाता है। रामायण महाकाव्य के मुताबिक इसी दिन भगवान श्री राम ने रावण का वध किया था, इसलिए ये त्योहार राक्षस रावण पर भगवान श्री राम की जीत का भी प्रतीक है। इस लेख में दशहरा पर हिंदी में निबंध (Essay on Dussehra in Hindi) लिखने संबधित सभी जानकारी दी गयी है, यहां स्कूली बच्चें दशहरा पर निबंध (Dussehra Par Nibandh),  दुर्गा पूजा पर निबंध (Essay on Durga Puja) लिखना सीख सकते है। कक्षा 8 के लिए दशहरा पर निबंध (Essay on Dussehra for Class 8 in Hindi), कक्षा 10 के लिए दशहरा पर निबंध (Essay on Dussehra for Class 10 in Hindi), कक्षा 12 के लिए दशहरा पर निबंध (Essay on Dussehra for Class 12 in Hindi) लिखना सीखें।

ये भी पढ़ें- दिवाली पर निबंध

यहां इस लेख में हम बच्चों के लिए दशहरा पर निबंध (Dussehra Per Nibandh) के बारे में बता रहे हैं, साथ ही कुछ उदाहरण भी दे रहे हैं, जिसकी मदद से छात्र अपने तरीके से दशहरा पर 100 शब्दों में निबंध (Essay on Dussehra in 100 words in Hindi), दशहरा पर निबंध 200 शब्दों में (Dussehra Essay in 200 Words in Hindi), दशहरा पर निबंध 500 शब्दों में (Dussehra Essay in Hindi in 500 Words in Hindi) लिख सकें।

वर्ष 2025 में दशहरा कब है? (When is Dussehra in the year 2025?)

साल 2025 में विजयदशमी यानी दशहरे का त्योहार 2 अक्टूबर, 2025 को मनाया गया। शारदीय नवरात्र 2025 में, दुर्गा पूजा 22 सितंबर से शुरू होकर 2 अक्टूबर, 2025 तक चली। दशहरा 2 अक्टूबर को मनाया गया। दशहरे के दिन नीलकंठ पक्षी का दर्शन करना शुभ माना जाता है। दशहरा (Dussehra) को भारत के कई प्रांतों में विजयदशमी के रूप में भी जाना जाता है। दशहरा का पावन अवसर सभी के लिए खुशियाँ मनाने का समय होता है। छात्रों को इस त्योहार का पूरा आनंद लेने के लिए अपने स्कूलों तथा कॉलेजों में छुट्टियां भी मिलती हैं, जिसका वे भरपूर आनंद उठाते हैं। यहां से आप दशहरा पर निबंध (Dussehra Per Nibandh) लिखना भी सीख सकते है।

दशहरा पर 100 शब्दों में निबंध (Essay on Dussehra in 100 words in Hindi)

दशहरा पर हिंदी में निबंध (Essay on Dussehra in Hindi): दशहरा भारत में सबसे प्रसिद्ध और सभी देश के भागों में मनाया जाने वाला त्योहार है। दशहरा पर जगह-जगह मां दुर्गा की प्रतिमा स्थापित की जाती है। इसके अलावा रामलीला का मंचन किया जाता है। देश के अलग-अलग शहरों में अलग-अलग तरीके से दशहरा मनाया जाता है। जैसे दशहरा पर दिल्ली के रामलीला मैदान का रामलीला देखने हजारों की संख्या में लोग आते हैं, वैसे ही दक्षिण भारत के शहर मैसूर में दशहरा का अलग ही रौनक देखने को मिलती है। दशहरा पर शहरों और गांवों में बड़े-बड़े पंडाल बनाए जाते हैं। बंगाल में दशहरा पर पंडालों का बड़ा महत्व है। देशभर में बने पंडालों और उसके आसपास की सड़कों को चमकदार रोशनी से सजाया जाता है और लाउडस्पीकरों पर मां दुर्गा की भक्ति में गाने बजाए जाते हैं। नवरात्रि के दस दिनों के दौरान सड़क के किनारे तरह-तरह के स्वादिष्ट स्ट्रीट फूड विक्रेताओं का मेला लगा होता है। दशहरा पर जगह-जगह कई आयोजन किए जाते हैं। जिसमें मेला भी होता है। मेला व्यापारियों के लिए लाभ कमाने का एक मौका होता है। इसलिए दशहरा का धार्मिक के साथ-साथ व्यापारिक महत्व भी है। इस दिन, घरों में मिठाइयां बनाई जाती है और बांटी जाती है। बच्चे त्योहार के दौरान सबसे अधिक उत्साहित होते हैं, क्योंकि उन्हें सुंदर और नए कपड़े पहनाए जाते हैं।

धार्मिक मान्यताओं के अनुसार दशहरा भगवान श्री राम की रावण पर विजय और लंका से अयोध्या वापसी का प्रतिक है। भगवान श्री राम ने दशहरा के दिन ही रावण रूपी राक्षस का वध किए थे। तभी से भारत भर में दशहरा मनाया जाता है। एक और धार्मिक मान्यता के अनुसार मां दुर्गा ने इसी दिन महिषासुर नामक राक्षस का वध किया था। इन दोनों मान्यताओं को बुराई पर अच्छाई का विजय का प्रतिक माना जाता है। एक और किंवदंती है कि पश्चिम बंगाल के लोग मानते हैं कि मां दुर्गा, जो पृथ्वी पर अपने पिता के घर जाने के लिए आई थीं, पांच दिनों के बाद, यानी दशमी या दशहरा के दिन चली जाती हैं। तो सभी खुश हो जाते हैं और मां दुर्गा को विदा करते हुए अगले साल फिर आने को कहते हैं। दशहरा पर 100 शब्दों में निबंध (Essay on Dussehra in 100 words in Hindi), दशहरा पर शॉर्ट निबंध (Short Essay on Dussehra in Hindi) लिखना सीखें।

दशहरा पर निबंध 200 शब्दों में (Dussehra Essay in 200 Words in Hindi)

Add CollegeDekho as a Trusted Source

google

प्रस्तावना (Preface)

दशहरा पर निबंध (Dussehra Par Nibandh in Hindi): दशहरा दिवाली से ठीक 20 दिन पहले आता है। विजयदशमी का यह त्योहार आमतौर पर पूरे भारत में प्रत्येक वर्ष सितंबर से अक्टूबर के आसपास मनाया जाता है। हिन्दू पंचांग के अनुसार दशहरा आश्विन मास में मनाया जाता है। दशहरा का त्योहार बुराई पर अच्छाई की जीत को प्रदर्शित करता है। अलग-अलग प्रांतों के लोग इस त्योहार को अलग-अलग रीति-रिवाज से मनाते हैं। शायद इसी कारण भारत को विविधताओं का देश भी कहा जाता है। धार्मिक लोग जो इस दिन पूजा-पाठ करते हैं, पूरे दिन व्रत रखते हैं। दशहरा जिसे शारदीय नवरात्रि के नाम से भी जाना जाता है। कई लोग मां के नौ रूपों की पूजा करते हैं और पूरे नौ दिनों तक व्रत रखते हैं। हालांकि कुछ लोग इसमें पहले और आखिरी दिन व्रत रखते हैं। यहां से आप दशहरा पर निबंध 150 शब्दों में (Essay on Dussehra in 150 words), दशहरा पर निबंध 200 शब्दों में (Essay on Dussehra in 200 words in Hindi ) लिखना सीख सकते है।

आयोजन (Events)

दशहरा पर निबंध (Dussehra Par Nibandh) - श्री राम द्वारा रावण का वध

देश के सभी राज्यों में दशहरा मनाने का रीति-रिवाज और परंपरा अलग-अलग है। कई राज्यों में पूरे दस दिन के लिए मनाया जाता है, तो कई जगहों पर 7 दिनों के लिए रामलीला का आयोजन किया जाता है। कई शहरों में रामलीला का आयोजन होता तो कई शहरों में मां दुर्गा के नौ रूपों की अलग-अलग विधि से पूजा की जाती है। राम लीला पौराणिक महाकाव्य, रामायण का एक लोकप्रिय भाग है। इसके पीछे की कहानी है कि जब लक्ष्मण जी ने रावण की बहन शूर्पणखा का नाक काट दी थी, जिसका बदला लेने के लिए रावण माता सीता का हरण कर लेता है और माता सीता को बंधन से आजाद करवाने के लिए हुए युद्ध में विजयदशमी के दिन भगवान श्री राम रावण का वध करते हैं। इसलिए इसे बुराई पर अच्छाई की जीत/असत्य पर सत्य की जीत का पर्व भी कहा जाता है।

दशहरा पर निबंध (Essay on Dussehra in Hindi) - दशहरा और दुर्गा पूजा

दशहरा और दुर्गा पूजा वैसे तो एक ही है, पहले नौ दिनों को दुर्गा पूजा के रूप में मनाते हैं, तो आखिरी के दसवें दिन को दशहरा कहा जाता है। दोनों बुराई पर अच्छाई की जीत का प्रतीक है। दशहरा भगवान राम की जीत का जश्न मनाने का पर्व है। दुर्गा पूजा उस दिन से शुरू होता है जब मां दुर्गा नौ दिनों तक अलग-अलग रूप में महिषासुर से युद्ध करती हैं और दसवें दिन इस भयंकर युद्ध में दुष्ट राक्षस महिषासुर का वध करती हैं। किंवदंती है कि युद्ध में जाने से पहले भगवान श्री राम ने भी शक्ति और वीरता के लिए मां दुर्गा की पूजा-अर्चना की थी।

दशहरा पर निबंध (dussehra par nibandh): निष्कर्ष

दशहरा न केवल हिंदू आस्था और विश्वास का अभिन्न अंग है, बल्कि यह सत्य की हमेशा जीत के भारतीय दर्शन पर भी जोर देता है।

दशहरा बुराई पर अच्छाई की जीत का जश्न मनाता है। यह त्यौहार हिंदू धर्म के बहुत ही मूल दर्शन को दर्शाता है, जो सत्य और धार्मिकता का शाश्वत प्रसार है। भगवान श्री राम ने रावण का अंत कर बुराई पर विजय प्राप्त की और मां दुर्गा ने महिषासुर का वध कर बुराई का अंत किया। बुराई के सामने सत्य कितना भी छोटा क्यों न हो, उसे दबाया नहीं जा सकता और हमेशा विजयी होता है। नौ दिन देवी मां की पूजा अर्चना के बाद विजयादशमी यानी दशहरा आता है। इस दिन सबके घरों में पकवान आदि बनाए जाते हैं।

भाषण संबधित आर्टिकल्स पढ़ें-

गणतंत्र दिवस पर भाषण हिंदी दिवस पर भाषण
स्वतंत्रता दिवस पर भाषण महिला दिवस पर भाषण
शिक्षक दिवस पर भाषण फेयरवेल स्पीच

दशहरा पर निबंध 500 शब्दों में (Dussehra Essay in Hindi in 500 Words in Hindi)

दशहरा पर निबंध हिंदी में (Dussehra Essay in Hindi): दशहरा हिंदू धर्म में मनाया जाने वाला एक प्रमुख त्योहार है। यह भारत के सबसे महत्वपूर्ण त्योहारों में से एक है। इसके अलावा, यह सबसे लंबे त्योहारों में से एक भी है। पूरे देश में लोग दशहरा बड़े उत्साह और प्रेम के साथ मनाते हैं। यह सभी के लिए खुशी मनाने का समय होता है। इस त्योहार का भरपूर आनंद लेने के लिए छात्रों को अपने स्कूलों और कॉलेजों से दस दिनों की लंबी छुट्टियां मिलती हैं।

दशहरा पर 500 शब्दों में निबंध (Essay on Dussehra in 500 words in Hindi)

दशहरा पर हिंदी में निबंध (Essay on Dussehra in Hindi): दशहरा भारत में सबसे प्रसिद्ध और सभी देश के भागों में मनाया जाने वाला त्योहार है। दशहरा पर जगह-जगह मां दुर्गा की प्रतिमा स्थापित की जाती है। इसके अलावा रामलीला का मंचन किया जाता है। देश के अलग-अलग शहरों में अलग-अलग तरीके से दशहरा मनाया जाता है। जैसे दशहरा पर दिल्ली के रामलीला मैदान का रामलीला देखने हजारों की संख्या में लोग आते हैं, वैसे ही दक्षिण भारत के शहर मैसूर में दशहरा का अलग ही रौनक देखने को मिलती है। दशहरा पर शहरों और गांवों में बड़े-बड़े पंडाल बनाए जाते हैं। बंगाल में दशहरा पर पंडालों का बड़ा महत्व है। देशभर में बने पंडालों और उसके आसपास की सड़कों को चमकदार रोशनी से सजाया जाता है और लाउडस्पीकरों पर मां दुर्गा की भक्ति में गाने बजाए जाते हैं। नवरात्रि के दस दिनों के दौरान सड़क के किनारे तरह-तरह के स्वादिष्ट स्ट्रीट फूड विक्रेताओं का मेला लगा होता है। दशहरा पर जगह-जगह कई आयोजन किए जाते हैं। जिसमें मेला भी होता है। मेला व्यापारियों के लिए लाभ कमाने का एक मौका होता है। इसलिए दशहरा का धार्मिक के साथ-साथ व्यापारिक महत्व भी है। इस दिन, घरों में मिठाइयां बनाई जाती है और बांटी जाती है। बच्चे त्योहार के दौरान सबसे अधिक उत्साहित होते हैं, क्योंकि उन्हें सुंदर और नए कपड़े पहनाए जाते हैं।

धार्मिक मान्यताओं के अनुसार दशहरा भगवान श्री राम की रावण पर विजय और लंका से अयोध्या वापसी का प्रतिक है। भगवान श्री राम ने दशहरा के दिन ही रावण रूपी राक्षस का वध किए थे। तभी से भारत भर में दशहरा मनाया जाता है। एक और धार्मिक मान्यता के अनुसार मां दुर्गा ने इसी दिन महिषासुर नामक राक्षस का वध किया था। इन दोनों मान्यताओं को बुराई पर अच्छाई का विजय का प्रतिक माना जाता है। एक और किंवदंती है कि पश्चिम बंगाल के लोग मानते हैं कि मां दुर्गा, जो पृथ्वी पर अपने पिता के घर जाने के लिए आई थीं, पांच दिनों के बाद, यानी दशमी या दशहरा के दिन चली जाती हैं। तो सभी खुश हो जाते हैं और मां दुर्गा को विदा करते हुए अगले साल फिर आने को कहते हैं। दशहरा पर 200 शब्दों में निबंध (Essay on Dussehra in 200 words in Hindi)​​​​, दशहरा पर शॉर्ट निबंध (Short Essay on Dussehra in Hindi) लिखना सीखें।

दशहरा दिवाली से तीन सप्ताह पहले या ठीक 20 दिन पहले पड़ता है। इस प्रकार, यह आमतौर पर सितंबर से अक्टूबर के आसपास पड़ता है। इस त्योहार का हर कोई बेसब्री से इंतजार करता है। यह सभी के लिए खुशी का बड़ा कारण लेकर आता है। यह समय ग्रामीण क्षोत्रों में किसानों के आराम का समय होता है, क्योंकि इस समय सभी फसलें खेतों पकने के कगार पर होती है, उसे ज्यादा देख-रेख की जरूरत नहीं होती है।

दशहरा पर निबंध (Essay on Dussehra in Hindi) - बुराई पर अच्छाई की जीत

भारत के कुछ क्षेत्रों में दशहरा को विजयादशमी के नाम से भी जाना जाता है। यह त्योहार बुराई की शक्ति पर अच्छाई की शक्ति की जीत का प्रतीक है। हिंदू पौराणिक कथाओं पर नजर डालें तो कहा जाता है कि इस दिन देवी दुर्गा ने महिषासुर नामक राक्षस का वध किया था। इसी तरह, अन्य परंपराओं का मानना ​​है कि भगवान राम ने इसी दिन राक्षस राजा रावण से युद्ध किया था और उसका अंत किया था।

दशहरा पर निबंध हिंदी में (Dussehra Essay in Hindi) - दशहरा उत्सव

पूरे भारत में लोग दशहरा को अत्यधिक उत्साह और धूमधाम के साथ मनाते हैं। विभिन्न संस्कृतियां त्योहार के उत्सव को प्रभावित नहीं करती हैं। पूरे त्योहार के दौरान भावना और उत्साह एक समान रहता है।

इसके अलावा, दशहरा राक्षस रावण पर भगवान राम की जीत का प्रतीक है। इस प्रकार, लोग दस दिनों तक उनके बीच हुई लड़ाई का अभिनय करते हैं। इस नाटकीय रूप को राम-लीला कहा जाता है। उत्तर भारत में लोग मुखौटे पहनकर और विभिन्न नृत्य रूपों के माध्यम से राम-लीला का अभिनय करते हैं।

इसके बाद, रामायण का अनुसरण करते हुए, वे रावण, मेघनाद और कुंभकर्ण जैसे तीन प्रमुख राक्षसों के विशाल आकार के पेपरबोर्ड पुतले बनाते हैं। फिर उन्हें जलाने के लिए विस्फोटकों से भर दिया जाता है। एक व्यक्ति भगवान राम की भूमिका निभाता है और पुतलों को जलाने के लिए उन पर तीर चलाता है। लोग आमतौर पर एक मुख्य अतिथि को भगवान राम के रूप में अभिनय करने के लिए आमंत्रित करते हैं और उस पुतले को जला देते हैं। यह आयोजन खुले मैदान में हजारों दर्शकों के साथ किया जाता है।

हर उम्र के लोग इस मेले का आनंद उठाते हैं। वे आतिशबाजी देखते हैं और आश्चर्यजनक दृश्यों से मंत्रमुग्ध हो जाते हैं। इस कार्यक्रम का बच्चे सबसे ज्यादा इंतजार करते हैं और अपने माता-पिता से उन्हें पटाखे दिखाने ले जाने की जिद करते हैं।

दशहरा पर निबंध (Essay on Dussehra in Hindi) - निष्कर्ष

दशहरे का हिंदू धर्म में बहुत महत्व है। हालांकि, सभी धर्मों के लोग रावण दहन के अद्भुत कृत्य के साक्षी बनते हैं। यह लोगों को एकजुट करता है क्योंकि दर्शक केवल हिंदू धर्म ही नहीं, बल्कि जीवन के सभी क्षेत्रों के लोगों से भरे होते हैं। सबसे महत्वपूर्ण बात, दशहरा हमें सिखाता है कि अच्छाई हमेशा बुराई पर विजय पाती है और प्रकाश हमेशा अंधेरे पर विजय प्राप्त करेगा।

निबंध संबधित आर्टिकल पढ़ें-

सरदार वल्लभभाई पटेल पर हिंदी में निबंध हिंदी दिवस पर निबंध
क्रिसमस पर निबंध गांधी जयंती पर निबंध
हिंदी लेटर राइटिंग दहेज़ प्रथा पर निबंध हिंदी में
सरस्वती पूजा पर हिंदी में निबंध हिंदी दिवस पर कविता

दुर्गा पूजा पर निबंध 10 लाइनों में (Essay on Durga Puja in 10 lines in Hindi)

दुर्गा पूजा निबंध हिंदी में 10 लाइन्स (Durga Puja Essay 10 lines in Hindi) यहां से लिखना सीख सकते है।

  1. दुर्गा पूजा एक हिंदू त्यौहार है जो देवी माँ की पूजा और राक्षस महिषासुर पर योद्धा देवी दुर्गा की जीत का उत्सव है।
  2. दुर्गा पूजा पूरे भारत में बड़े उत्साह के साथ मनाया जाता है।
  3. उत्तर और पश्चिम भारत में, इस त्योहार को नवरात्रि के रूप में मनाया जाता है, जहाँ माँ दुर्गा के नौ रूपों की पूजा की जाती है।
  4. देवी दुर्गा की सुंदर मूर्तियों को रखने के लिए भव्य पंडाल बनाए जाते हैं। ये पंडाल परंपरा और आधुनिकता का मेल होते हैं, जो अक्सर आधुनिक मुद्दों या ऐतिहासिक कहानियों को दर्शाते हैं।
  5. आठवाँ दिन दुर्गाष्टमी, इस त्योहार का मुख्य दिन होता है। माँ दुर्गा की आरती के समय ढोल बजाए जाते हैं और नृत्य किया जाता है।
  6. माँ दुर्गा को विशेष भोग अर्पित किया जाता है और इसे भक्तों के बीच बाँटा जाता है।
  7. सभी समुदायों के लोग एक साथ मिलकर पंडालों में जाते हैं। यह त्योहार परिवारों और दोस्तों के बीच एकता और प्रेम को बढ़ावा देता है।
  8. यह त्योहार पूरे भारत में मनाया जाता है, हालाँकि पश्चिम बंगाल में दुर्गा पूजा को बहुत उत्साह और आनंद के साथ मनाया जाता है।
  9. माँ दुर्गा को शक्ति, ज्ञान और समृद्धि के लिए पूजा जाता है। यह त्योहार हमें हमेशा बुराई के विरोध में होने की सीख देता है।
  10. इस उत्सव का समापन विजयदशमी के दिन होता है जिसे दशहरा भी कहते है, जब माँ दुर्गा की मूर्तियों का जल में विसर्जन किया जाता है। विसर्जन, माँ दुर्गा के उनके निवास में लौटने का प्रतीक है, जो त्योहार के अंत का संकेत है।
हिंदी में निबंध पढ़ें
रक्षाबंधन पर निबंध महात्मा गांधी पर निबंध
डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम पर निबंध होली पर निबंध
हिंदी में निबंध पर्यावरण दिवस पर निबंध
मदर्स डे पर निबंध स्वंत्रता दिवस पर निबंध

अन्य टॉपिक पर भाषण या स्पीच लिखना सीखने के लिए अथवा एजुकेशन न्यूज़ हिंदी में पढ़ने के लिए CollegeDekho के साथ बने रहें!

Are you feeling lost and unsure about what career path to take after completing 12th standard?

Say goodbye to confusion and hello to a bright future!

news_cta

FAQs

दुर्गा पूजा के पीछे का इतिहास क्या है?

ब्रह्मा ने महिषासुर को वरदान दिया था कि कोई भी पुरूष या देव उसका वध नहीं कर सकता। ऐसे में ब्रह्मा ,विष्णु और महेश ने आदि शक्ति का आवाह्न किया जिसके बाद मां आदिशक्ति देवी दुर्गा का रूप में प्रकट हुई। नौ दिनों तक देवी दुर्गा और महिषासुर के बीच भयंकर युद्ध हुआ। 10वें दिन मां दुर्गा ने दुष्ट राक्षस महिषासुर का वध कर दिया।

दुर्गा पूजा का महत्व क्या है?

यह लोगों को एकजुट करता है और बुराई पर अच्छाई की जीत का प्रतीक देवी दुर्गा को धन्यवाद देने के लिए एकत्रित होता है। यह त्यौहार लोगों को एकजुट करता है और सामाजिक और सांस्कृतिक सद्भाव को बढ़ावा देता है।

दुर्गा पूजा पर निबंध कैसे लिखें?

यह त्यौहार बहुत धार्मिक महत्व रखता है क्योंकि यह राक्षस महिषासुर पर देवी दुर्गा की जीत का स्मरण कराता है, जो बुराई पर अच्छाई की जीत का प्रतीक है। दुर्गा पूजा का यह त्यौहार एकजुटता की भावना को बढ़ावा देता है। इस तरह की शुरुआत करके दुर्गा पूजा पर निबंध लिख सकते है।

दशहरा पूजा क्या है?

दशहरा हिंदुओं के सबसे प्रतिष्ठित त्योहारों में से एक है, जो बुराई पर अच्छाई की जीत का जश्न मनाता है । इस त्यौहार का अलग-अलग लोगों के लिए अलग-अलग मतलब होता है। भारत के कुछ हिस्सों में इसे 9 दिनों के उपवास के अंत के रूप में मनाया जाता है जबकि कुछ हिस्सों में इस अवसर पर बड़े पैमाने पर जश्न मनाया जाता है।

दशहरा हमें क्या सिखाता है?

दशहरा हमें सिखाता है कि अच्छाई हमेशा बुराई पर जीत हासिल करती है। यह हमें सत्य और धार्मिकता का महत्व दिखाता है।

दशहरा कब मनाया जाता है?

प्रत्येक वर्ष आश्विन माह के शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि पर दशहरा का पर्व मनाया जाता है। इस खास अवसर पर देशभर में कुंभकरण, रावण और मेघनाथ के पुतले का दहन किया जाता है। धर्म शास्त्रों के अनुसार, दशमी तिथि पर मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान श्रीराम ने रावण का वध कर विजय प्राप्त की थी।

दशहरा कैसे मनाते हैं?

दशहरा भगवान राम की रावण पर विजय के रूप में मनाया जाता है। कई स्थानों पर इस दिन बुराई के विनाश का संकेत देने के लिए आतिशबाजी के साथ रावण के पुतले जलाए जाते हैं। दशहरा या विजयदशमी भगवान राम की विजय और दुर्गा पूजा के रूप या फिर यह शक्ति-पूजा का पर्व है।

दशहरा त्यौहार क्या हैं?

दशहरा, जिसे विजयादशमी के नाम से भी जाना जाता है, भारत में बुराई पर अच्छाई की जीत के प्रतीक के रूप में मनाया जाने वाला एक हिंदू त्यौहार है। यह महाकाव्य रामायण से जुड़ा हुआ है, जहाँ भगवान राम ने राक्षस राजा रावण को हराया था।

दशहरा का शाब्दिक अर्थ क्या है?

दशहरा संस्कृत शब्द दशहरा से आया है, जिसका शाब्दिक अर्थ है "(देवी) जो दस बड़े पापों को दूर करती है।"

दशहरा पूजा कब शुरू हुई?

कर्नाटक में दशहरा मनाने की परंपरा 400 साल से भी ज़्यादा पुरानी है। इस शुभ अवसर पर मैसूर शहर का पूरा महल रोशनी से जगमगा उठता है।

दशहरा का उद्देश्य क्या है?

विजयदशमी यानी दशहरा नवरात्रि खत्म होने के अगले दिन मनाया जाता है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, भगवान राम ने रावण का वध करने से पहले 9 दिनों तक मां दुर्गा की उपासनी की थी और 10वें दिन रावण का वध किया था। विजयदशमी का पर्व आश्विन मास के शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि को मनाए जाने वाले मुख्य पर्वों में से है।

दशहरा मनाने का मुख्य कारण क्या है?

धार्मिक मान्यताओं के अनुसार दशहरा के त्योहार के पीछे दो प्रमुख कारण बताए जाते हैं पहला भगवान राम ने इस दिन ही रावण का वध किया था और मां दुर्गा ने महिषासुर राक्षस के साथ चले 10 दिनों के युद्ध में महिषासुर का संहार किया था।

दशहरा क्यों मनाया जाता है?

 व्यक्ति और समाज के रक्त में वीरता प्रकट हो इसलिए दशहरे का उत्सव रखा गया है। दशहरा का पर्व दस प्रकार के पापों- काम, क्रोध, लोभ, मोह मद, मत्सर, अहंकार, आलस्य, हिंसा और चोरी के परित्याग की सद्प्रेरणा प्रदान करता है।

View More
/articles/essay-on-dussehra-in-hindi/

Related Questions

Career in Nutrition : Sir I want to do nutrition and diet s course from lpu is there any job and Campus and future in nutrition and diets course

-AdminUpdated on December 08, 2025 06:15 PM
  • 49 Answers
vridhi, Student / Alumni

That's a fantastic choice. The B.Sc. Nutrition and Dietetics course at LPU offers promising career opportunities in a growing field, with strong placements in hospitals and the food industry. You can expect excellent campus facilities, providing a solid foundation for a successful future.

READ MORE...

Percentage of placement in MBA in 2019 at LPU Phagwara?

-AnonymousUpdated on December 08, 2025 06:15 PM
  • 69 Answers
vridhi, Student / Alumni

The graph of placement from 2019 to 2025 is regularly going upwards. In 2019, LPU recorded 95% placement rate. Top recruiters from Amazon, Trident Group etc.

READ MORE...

how the MBA placements for year 2022

-saurabh jainUpdated on December 08, 2025 06:15 PM
  • 23 Answers
vridhi, Student / Alumni

LPU's placement is always promising and the graph goes high each session. From 2022-2025, various reputed recruiters like Amazon, HDFC etc visits the campus. Also LPU makes sure the students are placement ready by dedicating special placement cell.

READ MORE...

क्या आपके कोई सवाल हैं? हमसे पूछें.

  • 24-48 घंटों के बीच सामान्य प्रतिक्रिया

  • व्यक्तिगत प्रतिक्रिया प्राप्त करें

  • बिना किसी मूल्य के

  • समुदाय तक पहुंचे

नवीनतम आर्टिकल्स

ट्रेंडिंग न्यूज़

Subscribe to CollegeDekho News

By proceeding ahead you expressly agree to the CollegeDekho terms of use and privacy policy